गाजर घास को समूल नष्ट करने कृषकों को किया गया जागरूक
कांकेर । गाजर घास उन्मूलन जागरूकता सप्ताह का आयोजन 16 से 22 अगस्त तक कृषि विज्ञान केन्द्र कांकेर एवं अखिल भारतीय समन्वित अनुसंधान परियोजना खरपतवार प्रबंधन के तत्वावधान में किया गया। इसके तहत गाजरघास उन्मूलन हेतु ग्राम पुसवाड़ा एवं सिंगारभाट में जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के प्रारम्भ में इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के […]
कांकेर । गाजर घास उन्मूलन जागरूकता सप्ताह का आयोजन 16 से 22 अगस्त तक कृषि विज्ञान केन्द्र कांकेर एवं अखिल भारतीय समन्वित अनुसंधान परियोजना खरपतवार प्रबंधन के तत्वावधान में किया गया। इसके तहत गाजरघास उन्मूलन हेतु ग्राम पुसवाड़ा एवं सिंगारभाट में जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन किया गया। कार्यक्रम के प्रारम्भ में इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय के वरिष्ठ वैज्ञानिक डॉ. नितीश तिवारी ने गाजर घास के बारे में विस्तृत जानकारी देते हुए बताया कि गाजरघास का प्रकोप पिछले कुछ वर्षों से सभी प्रकार की खाद्यान्न फसलों, सब्जियां एवं उद्यानों में भी बढ़ता जा रहा है। गाजरघास का पौधा 3-4 महीने में अपना जीवन चक्र पूरा कर लेता है तथा एक वर्ष में इसकी 3-4 पीढ़िया पूरी होती जाती है।

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