कलेक्टर ने ली जिला स्तरीय पुनर्वास एवं पुनर्स्थापना समिति की बैठक

कलेक्टर ने ली जिला स्तरीय पुनर्वास एवं पुनर्स्थापना समिति की बैठक

अम्बिकापुर ।  जिला स्तरीय पुनर्वास एवं पुनर्स्थापना समिति की बैठक जिला कलेक्टरेट सभाकक्ष में कलेक्टर  विलास भोसकर की अध्यक्षता में आयोजित की गई। जिसमें समिति के सदस्य, एसईसीएल के अधिकारी सहित ग्राम परसोढ़ीकला के ग्रामवासी उपस्थित थे। बैठक में ग्राम परसोढ़ीकला की अधिग्रहित निजी भूमि से संबंधित भूमिस्वामियों एवं आश्रितों को कोल इंडिया पुनर्वास नीति […]

अम्बिकापुर ।  जिला स्तरीय पुनर्वास एवं पुनर्स्थापना समिति की बैठक जिला कलेक्टरेट सभाकक्ष में कलेक्टर  विलास भोसकर की अध्यक्षता में आयोजित की गई। जिसमें समिति के सदस्य, एसईसीएल के अधिकारी सहित ग्राम परसोढ़ीकला के ग्रामवासी उपस्थित थे।

बैठक में ग्राम परसोढ़ीकला की अधिग्रहित निजी भूमि से संबंधित भूमिस्वामियों एवं आश्रितों को कोल इंडिया पुनर्वास नीति 2012 के प्रावधानों के तहत रोजगार प्रदान करने हेतु पुनर्विचार नीति के तहत रोजगार हेतु विकल्प के चयन करने चर्चा की गई। इस दौरान कलेक्टर भोसकर ने कहा कि ग्रामीणों के हित का पूरा ध्यान रखें, उनको भूमि के बदले उनका अधिकार अवश्य मिले। मुआवजा वितरण के पश्चात जल्द से जल्द नौकरी देने की कार्यवाही की जाए। इस दौरान ग्रामीणों में रोजगार सम्बन्धी भ्रांतियों एवं सवालों के सम्बन्ध में पूछा गया। जिस पर उन्होंने एसईसीएल के अधिकारियों को समाधान के लिए निर्देशित किया।इस दौरान अमेरा ओपनकास्ट परियोजना हेतु ग्राम परसोढ़ीकला के अधिग्रहित भूमि से सम्बंधित जानकारी रखी गई। समिति एवं ग्रामीणों के समक्ष भूमि अधिग्रहण से प्रभावित व्यक्तियों को प्रदान की जाने वाली सुविधाओं जैसे कुल अधिग्रहित निजी भूमि का रकबा, मुआवजा राशि, भुगतान की गई राशि,रोजगार के प्रावधान, वेतन सुविधा सहित विभिन्न सुविधाओं के सम्बन्ध में विस्तृत जानकारी दी गई।इस दौरान बताया गया कि कोल इंडिया पुनर्वास नीति 2012 के अनुरूप रोजगार प्रदान किया जायेगा, कोल इंडिया पुनर्वास नीति 2012 के प्रावधानों के तहत अधिग्रहित निजी भूमि के एवज में रोजगार प्रदाय किया जायेगा। रोजगार दिए जाने हेतु भूमिस्वामी की पात्रता के बारे में ग्रामीणों को जानकारी दी गई। इसके साथ ही बताया गया कि प्रावधान अनुरूप रोजगार दिया जाएगा।अधिग्रहित भूमि की मात्रा के घटते क्रम में वरीयता सूची तैयार की जाएगी। इस दौरान बताया गया कि ऐसे प्रभावित भूमि स्वामी जो रोजगार हेतु पात्र है और रोजगार नहीं लेना चाहते, उन्हें भी रोजगार के एवज में मुआवजा हेतु 5 लाख रुपए प्रति एकड़ तथा अनुपात अनुसार योग्य होंगे।

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